Buffalo Milk: जल्द ही अपने बाड़े में ज्यादा दूध देने वाली भैंसों को शामिल करें, होगा बहुत ज्यादा मुनाफा

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Buffalo Milk: अपने बाड़े में जल्द ही सबसे ज्यादा दूध देने वाली भैंस लाये। बता दे, भैंस के दूध की कीमत गाय के दूध से कहीं अधिक होती है क्योंकि इसमें अधिक वसा होता है। चलिए जानते हैं इसके बारे में…

जाने इस पोस्ट में क्या क्या है

इस नस्ल की भैंस अधिक दूध देती हैं। देश में बहुत से पशुपालक इसे पालते हैं और अच्छी कमाई करते हैं। इस भैंस की दूध देने की क्षमता अन्य भैंसों से अधिक है। Murra नस्ल की भैंस का कलर गहरा काला होता है। इसके सींग भी घुमावदार होते हैं। मुर्रा भैंस की जानकारी: यह भैंस की नस्ल के बारे में आम लोगों काफी वाकिप हैं।

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हरियाणा की मुर्रा भैंस: मुर्रा भैंस, जिसे काला सोना भी कहा जाता है, मुख्य रूप से हरियाणा के विभिन्न जिलों में पाई जाती है। भारत सहित दुनिया भर में पशुपालक मुर्रा नस्ल की भैंसों को पालते है, जो दुनिया भर में दूध उत्पादन में सर्वश्रेष्ठ मानी जाती हैं। यह भैंस की दूध उत्पादन में सबसे अच्छी होती है। आपको बता दें कि एक मुर्रा भैंस दिन में 20 से 30 लीटर दूध दे सकती है। देश में सबसे अधिक मुर्रा नस्ल की भैंसें पाली जा रही हैं।

ऐसे पहचाने मुर्रा नस्ल की भैंस

  • मुर्रा भैंस का रंग काला होता है।
  • बता दें, मुर्रा भैंस के शरीर का आकार अन्य नस्लों की तुलना में बहुत बड़ा होता है।
  • इसके के सींग जलेबी के समान घुमावदार होता हैं।
  • पूंछ लंबी, निचले सिरे पर सफेद और काले बालों का गुच्छा होता है।
  • इसकी आंखें काली, चमकदार, गर्दन लंबी और सिर पतला होती है।
  • बता दें, मुर्रा भैंस के थन लंबे होते हैं और ये समान दूरी पर जुड़े होते हैं साथ ही नसें उभरी हुई भी होती हैं।
  • मुर्रा भैंस के सिर और पैरों पर सुनहरे रंग के बाल होते हैं।
  • इसके शरीर का औसत वजन 350-700 किलोग्राम तक होता है।
  • मुर्रा भैंस के बछड़े की ऐसे करे पहचान: इसका बछड़ा आमतौर पर काले रंग का ही होता है साथ ही उसका सिर छोटा होता है।
  • मुर्रा भैंस की उम्र उम्र 26 साल तक होती है।

दूध कारोबार करने वालों के लिए मुर्रा भैंस एक वरदान है। मुर्रा भैंस अन्य जानवरों की तुलना में बीमार होने का कम खतरा है क्यों की इस भैस में किसी भी वातावरण में ढलने की क्षमता होती हैं । आईसीएआर-नेशनल ब्यूरो ऑफ एनिमल जेनेटिक रिसोर्सेज द्वारा पंजीकृत यह भैंस पशुपालकों में काले सोने के नाम से भी जानी जाती है क्योंकि शारीरिक ताकत, रोग प्रतिरोधक क्षमता और अधिक दूध की वजह से ये काले सोने के नाम से भी प्रसिद्ध है। Murra भैंस का दूध वसा से भरपूर होता है, जिससे उच्च गुणवत्ता वाले डेयरी उत्पाद बनाए जाते हैं। मुर्रा भैंस अपनी रोग प्रतिरोधक क्षमता के कारण कठिन परिस्थितियों में भी जीवित रह सकती हैं।